MP NEWS24-वर्तमान में कोरोना की तीसरी लहर के पीक पर आने की संभावनाऐं दिखाई दे रही है। इसी संदर्भ में हमारे प्रतिनिधि ने उज्जैन संभाग की हेल्थ सर्विसेज के डिप्टी डायरेक्ट डॉ. संजीव कुमरावत से वर्तमान में कोरोना के नए वेरिएंट ओमाईक्रोन के बारे में जानकारी प्राप्त की।डॉ. कुमरावत ने बताया कि ओमाइक्रोन वेरिएंट वंश मंे तीन प्रकार अभी तक मिले है जिनको बीए-1, बीए-2 व बीए-3 नाम दिया गया है। इनमे अभी तक बीए-1 पूरे विश्व मे प्रभावी है। दिसंबर के पहले सप्ताह मे डेनमार्क में बीए-2 मिला था जो अभी यानि जनवरी के आखिरी मे डेनमार्क, नार्वे, स्वीडन, सिंगापुर, भारत आदि देशों मेें तेजी से मिल रहा है।
ओमाईक्रोन की हैं तीन खासियत है
डॉ. कुमरावत ने बताया कि ओमाईक्रोन की तीन खासियत होती है जिसमें ओरिजनल ओमाइक्रोन में एस जीन 69-70 डिलीशन (विलोपित) रहती है, इसी से पीसीआर टेस्ट में ओमाइक्रोन को पहचाना जाता है. परंतु बीए-2 में यह एस जीन डिलीशन नही पाया जाता इस कारण बीए-2 की पीसीआर टेस्ट में ओमाइक्रोन के रुप में पहचान नहीं हो पा रही है, इसीलिए इसको स्अेल्थ ओमाइक्रोन या छुपा हुआ ओमाइक्रोन कहा जा रहा है। इसकी पहचान के लिये जीनोम सिक्वेंसिंग करना होता है।
उन्होंने बताया कि अभी तक मिले डेटा के आधार पर यह सम्भावना है कि यह बीए-2, ओरिजनल ओमाइक्रोन की अपेक्षा तेजी से फैलता है। डॉ. कुमरावत के अनुसार अभी तक मिले डेटा के आधार पर यह अनुमान लगाया जा रहा है कि ओरिजनल ओमाइक्रोन की अपेक्षा बीए-2 आसानी से इम्यून सिस्टम की पकड़ मे आयेगाद्व यानि इस बात की सम्भावना है कि बीए-2 ओरिजनल ओमाइक्रोन से कम घातक हो सकता है हालांकि अभी तक इस बारे मे लैब या क्लिनिकल डेटा आना बाकि है।
डॉ. कुमरावत ने बताया कि सम्भावना है कि बीए-2 बीए-1 को रिप्लेस कर देगा, सम्भावना यह भी है कि बीए-2 स्वयं एक नया वेरिएंट बन जाए। फिलहाल बीए-2 के बारे मे आ रही खबरों से घबराए नही मास्क लगाए, दुरी बनाए, भीड़ में न जाए, बार-बार हाथ धोए तथा टीकाकरण अवश्य कराऐ।
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